शूलिका -८५
जीवन की अंधी दौड़ में
दूसरे से आगे की होड़ में
ज्यादा धन की जोड़ में
तनाव के घातक मोड़ में
असमय हो रहे प्रौड़ है
क्या इसका कोई तोड़ है
संजय जोशी "सजग "
जीवन की अंधी दौड़ में
दूसरे से आगे की होड़ में
ज्यादा धन की जोड़ में
तनाव के घातक मोड़ में
असमय हो रहे प्रौड़ है
क्या इसका कोई तोड़ है
संजय जोशी "सजग "
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