. . ""मेरी व्यथा""
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विसंगतियां विकृति लाती
संस्कृति प्रदूषित हो जाती
चुभन का अहसास कराती
व्यथा मन को व्याकुल बनाती
संजय की कलम "सजग" हो जाती
और व्यंग्य की धारा बह जाती.......l
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=========संजय जोशी "सजग"
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विसंगतियां विकृति लाती
संस्कृति प्रदूषित हो जाती
चुभन का अहसास कराती
व्यथा मन को व्याकुल बनाती
संजय की कलम "सजग" हो जाती
और व्यंग्य की धारा बह जाती.......l
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=========संजय जोशी "सजग"
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बहुत ही सुन्दर और कमाल की रचना , थोड़े में सब कुछ कह दिया आपने , शुभकामनाएं
जवाब देंहटाएंdhanyvad
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